दूध से दही जमना, जमी हुई दही को मथनी से मथ कर मक्खन को अलग निकालकर छांछ बनाई जाती है या यूं कह लीजिए मक्खन के लिए दही को मथा जाता है और मक्खन को गला करके घी प्राप्त किया जाता है बाकी बचा द्रव छांछ कहलाती है भारत में छांछ से कड़ी बनाई जाती है और यह भारतीय कड़ी पूरे विश्व में प्रसिद्ध है तो आइए जानते हैं छांछ से होने वाले लाभ
आयुर्वेद में छांछ को औषधीय युक्त द्रव बताया गया है
भारतीय आयुर्वेदिक ग्रंथों में छांछ को औषधि युक्त द्रव बताया गया है इन ग्रंथों के अनुसार छांछ एक पाचक रस के रूप में कार्य करता है छाछ भोजन को पचाने भूख को बढ़ाने के लिए एक गुणकारी द्रव है
छांछ में पाए जाने वाले पोषक तत्व
छांछ में विटामिन, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, कैल्शियम, लिपिड आदि पोषक तत्व पाए जाते हैं जो मनुष्य शरीर के लिए बेहद आवश्यक माने जाते हैं यदि मनुष्य छांछ को अपने दैनिक आहार में शामिल करें तो उसे निम्नलिखित फायदे हो सकते हैं।
मुंह के छाले व घाव के लिए असरदार
यदि आप अपने मुंह के छाले और घावों से परेशान हैं तो आपको रोजाना सुबह छांछ से कुला करना पड़ेगा यदि आपको मुख में इन्फेक्शन है तो रोजाना अपने डाइट में एक गिलास छांछ जरूर रखें छांछ में गुड बैक्टीरिया होते हैं जो कि मुंह में उपस्थित फंगस को बढ़ने से रोकते हैं व घावों को जल्दी से ठीक कर देते हैं
प्रतिरोधक क्षमता को रखे मजबूत
छांछ में पाया जाने वाला गुड बैक्टीरिया शरीर में रोग उत्पन्न करने वाले रोगाणु को नष्ट करता है जिससे मनुष्य की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ने लगती है
वजन को कम करने में सहायक
सभी की अवधारणा होती है की छांछ दूध व दही से बनता है तो इसमें फैट की मात्रा अधिक होगी परंतु सत्य यह है कि छांछ में दूध से लगभग आधा अर्थात सबसे कम फैट पाया जाता है इसलिए छांछ के सेवन से वजन नहीं बढ़ता बल्कि वजन घटता है।
कैल्शियम को बढ़ाएं जो रखे हड्डियों को मजबूत
छांछ व दूध में कैल्शियम की मात्रा सर्वाधिक होती है जो व्यक्ति लेक्टोजन की वजह से दूध का सेवन नहीं कर पाते वह व्यक्ति छांछ का सेवन कर सकते हैं छाछ में ओस्टियोपोरोसिस जैसे बीमारी से लड़ने की क्षमता होती है सभी पोषक गुणों से युक्त छांछ का सेवन करने से हड्डियों की मजबूती बरकरार रहती है
कब्ज से निजात
आधुनिक दिनचर्या में असंतुलित भोजन करने से कब्ज रोग जैसी बीमारी होने लगती है कब्ज से निजात पाने के लिए अपने आहार में एक गिलास छांछ का अवश्य शामिल करें छाछ को पीने से अवश्य ही कब से जैसे रोग से निजात मिलेगी।
त्वचा की झुर्रियों को रोके व त्वचा को बनाएं चमकदार
छांछ में एंटी एजिंग प्रोबायोटिक लैक्टिक एसिड मौजूद होता है जो कि त्वचा को मॉइश्चराइज रखता है छांछ त्वचा की झाइयों (फ्रेकल्स) को भी दूर करता है। यदि आप छांछ को फेस मास्क की तरह मुंह पर लगाते हैं तो इससे आपके चेहरे में निखार बना रहता है चेहरे में झुर्रियां नहीं आती वह चहरा मुलायम रहता है।
डिहाइड्रेशन की समस्या को करती है दूर
छांछ शरीर के लिए बेहद आवश्यक है वह भी खासकर गर्मियों के मौसम में, गर्मियों में मनुष्य के शरीर से अत्यधिक मात्रा में पानी पसीने के माध्यम से उत्सर्जित हो जाता है इसलिए शरीर को हाइड्रेट रखने के लिए बार-बार पानी की आवश्यकता होती है यदि समय रहते पानी ना पिया जाए तो शरीर में अन्य रोग उत्पन्न हो जाते हैं ,छाछ को पीने से शरीर में हाइड्रेशन लॉक हो जाता है जिससे डिहाइड्रेशन की समस्या दूर हो जाती है।
छांछ का सेवन किस प्रकार से करें
छांछ तीन प्रकार की होती है साधारण छांछ, मीठी छांछ , नमकीन छांछ
इन तीनों प्रकार की छांछ को अपने आहार में शामिल करना चाहिए।
1-साधारण छांछ
साधारण छांछ की बात अगर करें तो साधारण छांछ में कोई भी मसाला नहीं मिलाया जाता यह प्राकृतिक रूप से जैसे ही प्राप्त होती है वैसे ही पी दिया जाता है इस छांछ से पेट की जलन दूर होती है ,पीरियड्स के दौरान पेट में उत्पन्न हुई गर्मी को साधारण छांछ के सेवन से ठीक किया जाता है। यह छांछ मधुमेह के रोगियों के लिए भी उपयोगी है इस छांछ से वजन घटता है।
2-मीठी छाछ
यह छांछ पाचन क्रिया को मजबूत बनाती है इसका दैनिक सेवन करने से पाचन विकार की समस्या नहीं आती शरीर में पर्याप्त ऊर्जा बनी रहती है इस छांछ का सेवन मधुमेह से संबंधित रोगी ना करें।
3-मसाला छांछ नमकीन छांछ
साधारण छांछ में सेंधा नमक, हरी मिर्च, व कुछ हरे धनिया के पत्ते डालकर इस छांछ को पीने से यादाश्त शक्ति में वृद्धि होती है त्वचा में निखार आता है व डिहाइड्रेशन की शिकायत नहीं होती छांछ में साधारण नमक का प्रयोग ना करें सेंधा नमक ही डाले।