How To Safe From Corona virus and Air Pollution
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बढ़ते हुए वायु प्रदूषण और कोरोना वायरस से कैसे रहें सुरक्षित | How To Safe From Corona virus and Air Pollution

जिस तरह हम पैदा हुए बच्चों का ध्यान रखते है उसी तरह हमारे बुजुर्ग भी है वो भी बच्चों की तरह ही होते है उनका ध्यान भी वैसे ही रखना चाहिए जैसे हम बच्चो का रखते है

आज एक तो कोरोना का कहर है  उसी पर भी दिवाली के बाद का प्रदूषण, निश्चित ही हर इंसान को ऐसे में ज्यादा सजग रहने की जरूरत है। वैसे तो एनजीटी ने कई शहरों में पटाखों पर बैन लगा रखा था, फिर उन जगहों पर जहां अनुमति के साथ पटाखों के जलाने से प्रदूषण हुआ, या फिर उन जगह जहां पटाखों के अलावा भी दीवाली पर प्रदूषण हुआ, लोगों को सेहत संबंधी खड़ी हो सकती हैं। ऐसे में जरूरी यह है कि हम अपने आप को कैसे बचाये। हम अपने बच्चो को बुजुर्गों को इन सब से कैसे बचाएं। 


कुछ ऐसी सावधानी है जिनको बरतने से हम अपने बच्चों को बुजुर्गों को बचा सकते है जो निम्न है-

  • मुंह पर कपड़ा बांधकर निकलें।
  • बाहर का कुछ भी खाने से बचें।
  • दूषित पानी न पीएं।
  • घर में घर से बाहर कहीं भी स्मोकिंग करने से बचें।
  • अगर आप गाड़ी, बाइक या अन्य किसी वाहन से ट्रैवल कर रहें हैं तो रेड लाइट होने पर उसे बंद कर दें। उसे चलता हुआ न रखें। इससे भी एयर पॉल्यूशन कम होगा।
  • घर में कारपेट हैं तो उसे हटा दें। उसमें भी बहुत डस्ट होती है।
  • अपने गैस-स्टोवी की ठीक से जांच करें और घर में सही तरह से वैटिलेशन करवाएं।
  • जूते घर के बाहर ही उतारें।
  • एयर फेशनर्स का कम से कम इस्तेमाल करें।
  • बेडशीट्स को हर सप्ताह गर्म पानी से धोएं।
  • सुनिश्चित कर लें बाथरूम और किचन में एग्जॉस्ट फैन ठीक से काम करें।
  • घर के आसपास अधिक से अधिक प्लांट्स लगाएं।


वायु प्रदूषण से किन बातों का डर रहता है?आइएं जानते है कि किन बातों का डर रहता है-

 

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दिल का दौरा पड़ने का भी रहता है डर  


एक रिसर्च के मुताबिक, प्रदूषण अथेरोस्क्लेरॉसिस (धमनियों का कड़ा होना) की प्रक्रिया को तेज करता है, जो दिल के दौरे का कारण बनता है। ज्यादा प्रदूषण वाले इलाकों में रहने वाले लोगों की धमनियां कम प्रदूषण वाले इलाकों में रहने वाले लोगों की तुलना में ज्यादा कड़ी होती है।


प्रदूषण से किडनी रोग  


एक अन्य स्टडी में इस बात का खुलासा हुआ है कि वायु प्रदूषण से किडनी रोग में बढ़ावा होता है, जो किडनी फेल का प्रमुख कारण है।


बच्चों और किशोरों को हो सकती है ये परेशानी 


एक रिसर्च के मुताबिक, पॉल्यूशन जनसंख्या के कारण बच्चों और किशोरों में गठिया या इससे जुड़े रोग हो सकते हैं जिसमें दर्द, सूजन, लूपस आदि हो सकते हैं। सिस्टेमिक लूपस अर्थेमेटोसस (एसएलई) या लूपस शरीर के किसी भी हिस्से को नुकसान पहुंचा सकता है। ये शरीर के दूसरे अंगों को भी नुकसान पहुंचा सकता है जैसे किडनी, दिल और मस्तिष्क आदि। रिसर्च के मुताबिक, पॉल्यूशन की वजह से ही लूपस रोग होता है। रिसर्च में ये भी कहा गया कि एयर पॉल्यूशन के कारण न सिर्फ पुराने फेफड़ों के रोग, हृदय रोग, हृदय के कैंसर में बढ़ोत्तरी होती है, बल्कि यह बचपन में ही गठिया रोग होने की संभावना को भी बढ़ाता है।

इस प्रकार कहा जा सकता है कि सावधानी के बरतने से हम अपने आप को अपने बुजुर्गों को बच्चो को सुरक्षित रख सकते है।


डिस्क्लेमर: यह टिप्स और सुझाव सामान्य जानकारी के लिए हैं, इन्हे किसी डॉक्टर या फिर स्वस्थ्य स्पेशलिस्ट की सलाह के तौर पर न लें, बिमारी या किसी संक्रमण की स्थिति में डॉक्टर की सलाह से ही अपना इलाज करवाएं।

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