व्यक्तिगत आयकर स्लैब में कोई बदलाव किए बिना, केंद्रीय बजट 2021-22 ने वरिष्ठ नागरिकों को आई-टी रिटर्न दाखिल करने में राहत प्रदान की है। 75 वर्ष या उससे अधिक आयु के वरिष्ठ नागरिकों पर इनकम टैक्स नियम अनुपालन बोझ को कम करने के लिए, केवल पेंशन और ब्याज आय वाले वरिष्ठ नागरिकों को IT रिटर्न दाखिल करने से छूट दी जाएगी, जबकि बैंक जरुरी टैक्स पहले जैसे ही काटेंगे।
साथ ही एक विवाद समाधान समिति (Dispute Resolution Committee) की स्थापना और Tax Appellate Tribunal की भी घोषणा की; अनिवासी भारतीयों (एनआरआई) के लिए छूट प्रदान की गई; ऑडिट से छूट की सीमा में वृद्धि की पेशकश की; और लाभांश आय के लिए राहत दी गयी है। भारत में जो NRI विदेश से सेवानिवृत होकर वापस आते हैं और उनके सेवानिवृत्ति खाते में अर्जित आय के मुद्दे पर अप्रवासी भारतीयों की कठिनाई को दूर करने के लिए, बजट में इसे नियंत्रित करने वाले नियमों को अधिसूचित करने का प्रस्ताव है।
केंद्रीय वित्त और कॉर्पोरेट मामलों के मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए बुनियादी ढांचे में विदेशी निवेश को आकर्षित करने के लिए कदमों की भी घोषणा की; किफायती आवास और किराये के आवास के लिए राहत; अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्र (IFSC) को कर प्रोत्साहन; छोटे धर्मार्थ ट्रस्टों को राहत; और देश में स्टार्ट-अप को प्रोत्साहित करने के लिए इंसेंटिव देने की भी घोषणा की।
सभी के लिए आवास की ओर, वित् मंत्री ने किफायती घर खरीदने के लिए 1.5 लाख के ब्याज पर अतिरिक्त कटौती के दावे के लिए पात्रता अवधि को 31 मार्च, 2022 तक बढ़ाने का प्रस्ताव दिया है।
प्रवासी श्रमिकों के लिए किफायती किराये के आवास की आपूर्ति को बढ़ावा देने के लिए, वित् मंत्री ने अधिसूचित किफायती किराये के आवास की परियोजनाओं के लिए कर छूट की घोषणा की है।
टैक्स प्रणाली में मुकदमेबाजी को कम करने के लिए, FM ने मुकदमेबाजी का सामना करने वाले छोटे कर दाताओं के लिए एक विवाद समाधान समिति का गठन करने का प्रस्ताव दिया है। विशेषज्ञों की माने तो इस बजट से आम लोगो को रोजगार मिलेगा और लोगो की इनकम भी बढ़ेगी